पुरानी पेंशन बहाली की मांग पर बिहार मुख्यमंत्री के समक्ष धरना

बिहार स्टेट फोरम अगेंस्ट एनपीएस (नई पेंशन नीति) के बैनर तले 14 फरवरी को पटना में पुरानी पेंशन बहाली की मांग पर बिहार मुख्यमंत्री के समक्ष राज्य कर्मियों व शिक्षकों ने धरना दिया. राज्य में 1 सितंबर 2005 एवं उसके बाद नियुक्त राज्य कर्मियों एवं शिक्षकों को पूर्व से प्रचलित पुरानी पेंशन नीति से वंचित कर दिया गया है. पुरानी पेंशन नीति समाप्त करते समय बताया गया था कि इससे भी लाभकारी एनपीएस होगी क्योंकि 10 प्रतिशत राशि अंशदाता कटौती के उपरांत उतनी ही राशि सरकारी खजाने से दी जाएगी एवं शेयर मार्केट में राशि कई गुणा बढ़ जाएगी और साथ ही पुरानी पेंशन नीति के तहत सेवानिवृत्ति के उपरांत मिलने वाली 50 प्रतिशत से कहीं अधिक की राशि पेंशन के रूप में मिलेगी. लेकिन वास्तविकता में सेवा निवृत्ति के बाद कर्मियों को मात्र 2000रू. ही मासिक पेंशन मिल रही है जिससे कर्मी आक्रोशित हैं. इसी स्थिति में, एनपीएस के तहत इस धोखाधड़ी के खिलाफ और एनपीएस को वापस लेने व पुरानी पेंशन नीति बहाल करने की मांग पर मुख्यमंत्री के समक्ष धरना दिया गया.

धरने की अध्यक्षता नंदन कुमार सिंह ने की एवं संचालन प्रदेश संयोजक प्रेमचंद सिन्हा ने किया. धरने को कर्मचारी महासंघ (गोप) के सम्मानित अध्यक्ष रामबली प्रसाद, ‘‘फ्रंट अगेंस्ट एनपीएस इन रेलवे’’ के नेता डा0 कमल उसरी, सह संयोजक सुमन कुमार, ऐक्टू नेता रणविजय कुमार, भाकपा-माले के विधायक महबूब आलम एवं सुदामा प्रसाद, एनसीआर वर्कर्स यूनियन के नेता मनोज पांडे, संजय तिवारी एवं इरफात अली ने संबोधित किया.