श्रद्धांजलि

कामरेड गुरुदास दासगुप्ता

एटक के पूर्व महासचिव व जाने-माने ट्रेड यूनियन नेता, सीपीआई के वरिष्ठ नेता और सांसद कामरेड गुरुदास दासगुप्ता का गत 31 अक्टूबर 2019 को 83 वर्ष की उम्र में निधन हो गया. छात्र जीवन में ही का. गुरुदास कम्युनिस्ट आंदोलन से जुड़ गए थे और वे सारी जिंदगी मजदूरों के अधिकारों, धर्मनिरपेक्षता एवं लोकतंत्र के लिये अनथक योद्धा के बतौर संघर्षरत रहे. बीमा और बैंक के कर्मचारियों को संगठित करने में अहम भूमिका निभाने के अलावा वे रेल कर्मियों के आंदोलन खासकर इनकी 1974 की हड़ताल से गहरे ढंग से जुड़े थे. का.

का. योगेश्वर गोप को याद किया गया

24 अक्टूबर 2019 को बिहार राज्य अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ (गोप गुट) की ओर से पटना व भोजपुर सहित कई जिलों में महासंघ के संस्थापक, ऐक्टू के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं क्रांतिकारी मजदूर आंदोलन के नेता का. योगेश्वर गोप के 12वें स्मृति दिवस के मौके पर संकल्प सभाएं आयोजित हुईं.

कानपुर में का. हरी सिंह की स्मृति सभा

उत्तर प्रदेश के जाने-माने मजदूर नेता, ऐक्टू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं राज्य अध्यक्ष कामरेड हरी सिंह की स्मृति सभा 10 अक्टूबर 2019 को कानपुर में डिप्टी पड़ाव के निकट इकबाल लाइब्रेरी हॉल में हुई. इसका आयोजन भाकपा-माले और ऐक्टू जिला इकाई ने किया. का. हरी सिंह का निधन लंबी बीमारी के बाद 80 साल की उम्र में बीते 25 सितंबर 2019 को हो गया था.

कामरेड हरी सिंह को लाल सलाम!

मजदूरों के प्यारे नेता कामरेड हरी सिंह का 25 सितंबर 2019 को कानपुर के एक अस्पताल में निधन हो गया. वे 80 साल के थे. वे भाकपा-माले की उत्तर प्रदेश राज्य कमेटी के सदस्य और ऐक्टू के प्रदेश अध्यक्ष एवं राष्ट्रीय उपाध्यक्ष थे. वे पिछले कुछ महीनों से अस्वस्थ चल रहे थे. 

श्रद्धांजलि

गिरिडीह जिले के बगोदर बस स्टैंड स्थित मोटर कामगार यूनियन के अध्यक्ष और भाकपा-माले नेता का. भुनेश्वर मिस्त्री का 1 अगस्त 2019 को रांची स्थित रिम्स में निधन हो गया. वे 66 वर्ष के थे. वे पेशे से ट्रैकर ड्राइवर थे और ’80 के दशक के अंतिम वर्षा में शहीद कामरेड महेंद्र सिंह के नेतृत्व में उन्होंने बगोदर बस स्टैंड में पुलिसिया जुल्म से त्रस्त छोटी-छोटी गाड़ियों के चालकों-उपचालकों को संगठित करके मोटर कामगार यूनियन बनाई. बेहद कठिन परिस्थितियों में भी वे हर संघर्ष में अगली कतार में डटे रहे. वे बेहद मिलनसार और मृदुभाषी स्वभाव के थे. उनका निधन हम सबके लिये बड़ी क्षति है.
 

कामरेड सुदर्शन बोस

का0 सुदर्शन बोस (अनल दा) का 5 जुलाई 2019 को पश्चिम बंगाल के नदिया जिले के रानाघाट स्थित उनके निवास स्थान में कैंसर के असाध्य रोग से देहांत हो गया. वे 74 वर्ष के थे. 

कामरेड ए.के. रॉय 

मार्क्सवादी कोऑर्डिनेशन कमेटी (एमसीसी) के संस्थापक नेता का0 एके रॉय ने धनबाद में 21 जुलाई 2019 को अंतिम सांस ली. का0 एके रॉय का झारखण्ड और भारत के वाम और जनवादी आन्दोलन में अमूल्य योगदान रहा है. वे धनबाद से तीन बार सांसद चुने गये थे. 

झारखण्ड कोयला मजदूरों के संघर्षों के इस महान योद्धा को उनकी सादगी और ईमानदारी के लिए भी याद किया जाता है. उन्होंने स्वेच्छा से अपने लिए अभावों वाला जीवन चुना और अंतिम समय तक धनबाद के मेहनतकश लोगों के असीम प्यार और देखभाल उन्हें मिलती रही. 

कामरेड संतोष राणा 

प. बंगाल के एक प्रमुख सीपीआई-एमएल नेता का. संतोष राणा का 29 जून 2019 को 76 वर्ष की आयु में कोलकाता में देहांत हो गया. वे कैंसर से पीड़ित थे और उनका इलाज चल रहा था. वे अकेले एमएल नेता थे जो इंमरजेंसी के बाद प. बंगाल विधान सभा के लिये चुने गये थे. वे उत्पीड़ितों की अटल आवाज थे, आज के चुनौतीपूर्ण दौर में उनकी कमी बहुत ज्यादा महसूस होगी. 

कामरेड संतोष राणा को लाल सलाम!

सुबोध दा को लाल सलाम

16 जून 2019 की शाम में दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल में का. सुबोध कुमार सिन्हा (देबाशीश बोस) का निधन हो गया. पिछले कुछ वर्षों से उनका स्वास्थ्य गिरता जा रहा था, किंतु यह उम्मीद न थी कि इस तरह अचानक उनकी मौत हो जाएगी.

का. सुबोध का जन्म 1 जुलाई 1940 को रांची में हुआ था. नक्सलबाड़ी आन्दोलन के बाद के उथल-पुथल भरे 1970 के दशक की शुरूआत में बिहार राज्य विद्युत बोर्ड में उच्च कुशल सुपरवाइजर के रूप में उनकी नौकरी लगी और हाई टेंशन बिजली लाइन बिछाना उनकी जिम्मेवारी थी. उसी दौरान वे भाकपा-माले के संपर्क में आए और एक बेशकीमती समर्थक बन कर पार्टी के लिये कामों में लग गये.